शाहरुख खान की फिल्म पठान जो 25 जनवरी 2023 को रिलीज हो चुकी हैं । लीड रोल की बात करें तो शाहरुख आखिरी बार साल 2018 में फिल्म जीरो में लीड रोल में नजर आए थे। लंबे समय के बाद शाहरुख खान की वापसी हो रही है। जिसका उनके फैंस भी बेसब्री से इंतजार कर रहे थे। इस बीच सोशल मीडिया पर शाहरुख की पठान फिल्म से जुड़ा एक दावा वायरल हो रहा है। वायरल दावे में एक वीडियो है, जिसमें उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कुछ कहते नज़र आ रहे हैं। करीब 2 मिनट के इस वायरल वीडियो के आधार पर दावा किया जा रहा है कि योगी ने पठान फिल्म न देखने की अपील की है ।
इस वीडियो में सीएम योगी कहते नजर आ रहे हैं कि ''इस देश के अंदर वामपंथी विचारधारा के कुछ तथाकथित लेखक और कलाकार अब न सिर्फ भाजपा विरोधी बल्कि भारत विरोधी आवाज उठाने लगे हैं, दुर्भाग्य से, उस लहजे से शाहरुख खान जैसे लोगों को भी समर्थक मिल रहे हैं।" और ये पहली बार नहीं है जब उनके द्वारा इस तरह की हरकतें पहले भी की गई हों. शाहरुख खान को याद रखना चाहिए कि अगर इस देश का बहुसंख्यक समाज उनकी फिल्मों का बहिष्कार करेगा तो उन्हें भी एक आम मुसलमान की तरह सड़कों पर भटकना पड़ेगा. वीडियो के अंत में योगी आदित्यनाथ शाहरुख खान की तुलना आतंकी हाफिज सईद से करते नजर आ रहे हैं.
वायरल दावे की हकीकत जानने के लिए जब इंटरनेट पर खंगाला गया तो यह वीडियो साल 2015 का पाया गया। द इंडियन एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट 5 नवंबर, 2015 को प्रकाशित हुई थी। दरअसल, अभिनेता शाहरुख खान के बनाए जाने के दो दिन बाद देश में "बढ़ती असहिष्णुता" के बारे में एक बयान, तत्कालीन भाजपा सांसद योगी आदित्यनाथ ने उनकी तुलना पाकिस्तानी आतंकवादी और 26/11 के मास्टरमाइंड हाफिज सईद से करते हुए कहा कि अगर वह पाकिस्तान जाना चाहते हैं तो उनका "स्वागत" है।
क्या कहा शाहरुख खान ने साल 2015 में एक टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू में देश में बढ़ती असहिष्णुता को लेकर बयान दिया था। शाहरुख ने कहा था कि देश में थोड़ी असहिष्णुता हो गई है, युवा तेजी से प्रतिक्रिया देने लगे हैं। इसके बाद देश के अलग-अलग संगठनों और राजनीतिक दलों के नेताओं ने शाहरुख के बयान का विरोध किया था। योगी आदित्यनाथ उस वक्त गोरखपुर से बीजेपी के लोकसभा सांसद थे और उन्होंने भी शाहरुख के बयान पर आपत्ति जताई थी. हालांकि बाद में शाहरुख ने अपने बयान के लिए माफी भी मांगी थी। आपको बता दें कि सीएम योगी ने शाहरुख से हाथ मिलाने की बात इसलिए कही थी क्योंकि पाकिस्तानी सरकार और आतंकी संगठन भारत में अल्पसंख्यकों पर अत्याचार को लेकर बेबुनियाद आरोप लगाते रहते हैं और शाहरुख की टिप्पणी भी इन आरोपों से मिलती-जुलती थी. लेकिन ये बिल्कुल गलत है कि सीएम योगी ने पठान फिल्म न देखने की अपील की है.